गुर्जर समाज के इतिहास में सही तथ्यों को शामिल करने की आवश्यकता – महावीर पोसवाल

सम्राट कनिष्क मध्य एशिया के सबसे बड़े चक्रवर्ती सम्राट हुए जिनका साम्राज्य भारत सहित पाकिस्तान, अफगानिस्तान, उजबेकिस्तान, चीन, श्रीलंका तक फैला हुआ था। उक्त विचार प्रकट करते हुए पथिक सेना संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष महावीर पोसवाल ने शिव शक्ति मंदिर में अंतर्राष्ट्रीय गुर्जर दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में कहा कि शक संवत् की शुरूआत महाराजा कनिष्क ने ही की थी और आज के दिन उनका राज्याभिषेक हुआ था, जो गुर्जर समाज के लिए गौरव की बात है।

पोसवाल ने बताया की कनिष्क के वंशजों ने करीब दो सौ पचास वर्षों तक मध्य एशिया पर शासन किया तथा गुर्जर साम्राज्य 11 वीं शताब्दी तक एक छत्र रहा। लेकिन मुगलों और अंग्रेजों ने हमारे इतिहास को खुर्द-बुर्द कर दिया, जिसको आज फिर से संशोधित कर सही तथ्यों को इतिहास में शामिल किये जाने की आवश्यकता है। कार्यक्रम में पथिक सेना के जिलाध्यक्ष शेरसिंह धाभाई, बजरंग सराधना, गोविंदराम कसाना, नरेंद्र लीलू, प्रताप, रामगोपाल चौहान, बंशीलाल पोसवाल सहित अनेक लोग उपस्थित थे।

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