
स्थानीय प्रेरणा संस्थान मंत्री यशोदा माटोलिया ने राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी व प्रधानमंत्री मनमोहनसिंह को पत्र प्रेषित कर उतराखण्ड आपदा में फंसे नागरिकों को सकुशल वहां से निकालकर सुरक्षित स्थान पर पंहूचाने वाले सेना, अद्र्ध सैनिक बल व आईटीबीपी और एनडीआरएफ के जवानों को देश के असली हीरो बताते हुए उनके लिए विशेष प्रोत्साहन पैकेज की घोषणा करने की मांग की है। यशोदा माटोलिया ने पत्र में लिखा है कि बड़े शर्म की बात है कि चैम्पियन ट्रॉफी जीत कर आई भारतीय क्रिकेट टीम के खिलाडिय़ों के लिए सरकार ने एक -एक करोड़ रूपये की पुरूस्कार राशि देने की घोषणा की है, जबकि उतराखण्ड में दुर्गम परिस्थितियों के बावजूद वहां फं से नागरिकों को अपनी जान जोखिम में डालकर बचाकर सुरक्षित स्थानों पर पंहूचाने का साहसिक कार्य किया है, उनके लिए सरकार ने किसी प्रकार की कोई घोषणा नहीं की है।
सेना के जवानों द्वारा विपरित परिस्थतियों में किये गये साहसिक कार्य की प्रशंसा करते हुए माटोलिया ने राहत के नाम पर राजनीति करने वाले नेताओं की कड़ी निन्दा व भत्र्सना की है। उन्होने बचाव अभियान में जुटे वायु सेना के हैलीकॉप्टर के क्रेश होने से अपनी जान गंवाने वाले सैनिकों को शहीद का दर्जा देते हुए उनकी शहादत को नमन करते हुए उनके परिजनों को शहीद सैनिक के परिजनों को सरकार द्वारा दी जाने वाली सभी सुविधायें देने की मांग की है। माटोलिया ने सैनिकों को देवदूत बताते हुए पत्र में लिखा है कि विशेष पैकेज देने से सेना के मनोबल में वृद्धि होगी। माटोलिया ने जिस प्रकार पुलिस के सहयोग के लिए होमगार्ड तैयार किये जाते हैं, उसी प्रकार उतराखण्ड सहित पूर्वोत्तर के राज्य जहां पर बाढ़ सहित अनेक प्रकार की प्राकृतिक आपदायें प्रतिवर्ष आती रहती है, उनसे निपटने के लिए स्थानीय लोगों को विशेष प्रशिक्षण देने की मांग की है। जिससे संकट के समय सरकार को उनका सहयोग मिल सके तथा संकटग्रस्त को समय पर सहायता उपलब्ध हो सके।