समारोह पूर्वक की गई रामचन्द्रदास जी की मुर्ति स्थापना

Ramchandradas-ji

स्थानीय आत्माराम जी की बगीची में संत शिरोमणी श्रीश्री 1008 बाबा रामचन्द्रदास जी महाराज की 18 वीं पुण्यतिथी पर उनकी मुर्ति स्थापना के साथ हर्षोल्लास पूर्वक मनाई गई। गुलाबदास जी के अखाड़े के संत मोहनदास जी महाराज, खड़ेसरी झमोला के स्वामी मूलनाथ जी महाराज, अड़कसर स्वामी सांवलदास जी महाराज के सानिध्य में समारोह पूर्वक बाबा रामचन्द्रदास जी महाराज की मुर्तिस्थापना की गई। इस अवसर पर मौजीदास जी के धुणा के संत पूसादास महाराज, गोपालपुरा के गोपालदास जी महाराज, गणेशदास महाराज, माण्डेता के पवननाथ महाराज, बगड़ के राकेशनाथ महाराज, नेछवा के बनवारी दास महाराज ने मुर्ति को चादर ओढ़ाई।

मुर्तिस्थापना के बाद शनिवार रात्री को भजन संध्या आयोजित की गई। भजन संध्या में जय सियाराम बगीची के संत स्वामी सत्यचैतन ब्रह्मचारी महाराज ने राम भजन को रूणझुणियों म्हान गुरू सैन मं बता दियो, बंगला आज बणग्या म्हारा, मुझे काम है ईश्वर से सहित अनेक भजन सुनाये। गुरू वंदना एवं भजनों का श्रवण करने तथा संत समागम का पुण्य लाभ लेने के लिए देर रात तक डटे रहे। रविवार को आयोजित भण्डारे में एक हजार से अधिक श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया। विधायक मा. भंवरलाल मेघवाल, पूर्व प्रधान एवं जिप सदस्य पूसाराम गोदारा तथा राधेश्याम अग्रवाल ने संतों के दर्शन कर उनका आर्शीवाद लिया। मुर्तिस्थापना समारोह को सफल बनाने में विनोद गोठडिय़ा, जीवणमल मोयल, जुगराज टेलर, मनोहर बागड़ा, मनोज पारीक, निजू शर्मा, विपिन सैन, लक्ष्मीनारायण प्रजापत, राजेन्द्र टेलर, बाबूलाल प्रजापत, नानू प्रजापत, नानक जांगीड़, भंवरलाल बागड़ा, ओमप्रकाश फूलभाटी, दुलीचन्द दिनोदिया, बजरंग सैन, धर्मचन्द टेलर, केडी चारण, सीकर के मदनप्रकाश बावरिया, शांतिदेवी सैन सहित अनेक गुरूभक्त जुटे हुए थे।

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